Cg love shayari अपन हिरदय म मोला बसाबे...

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अपन हिरदय म मोला बसाबे....।cg love shayari 2022

Hello friends आपका स्वागत है मेरे ब्लॉग my cg line में,आज आप सभी के लिए बहुत ही बढ़िया शायरी लेकर के आया हु, सब अपनी अपनी लाइफ में कोई उसके दिल में भी ऐसा होता है जो उसे अपने आप से भी प्यार करता है चाहे वो परिवार हो या friends तो friends आज मै आप उन सभी के लिया कुछ शायरियां लेके आया हु जो लोग उसे बोल नहीं सकते है तो आज आप लोग इन सभी शायरी के माध्यम से आप अपनी बात कह सकते है तो नीचे शायरी है पढ़िए और कैसा लग comment कर के जरूर बताएं और आगे भी ऐसी शायरी पढ़ने के लिए हमे follow करे। जय जोहार।

छत्तीसगढ़ के मया शायरी


Chhattisgarhi couple in traditional attire sharing romantic shayari

अपन हिरदय म मोला बसाबे
केहेरहे संगवारी न
अतेक रीहिस तोर मया का संगी
सब भुला दिए तय संगवारी न...।


 ए मया हरे या अऊ कुछु,ये तो मैं नई जनव

फेर जेन रिश्ता तोर ले हे, वो रिश्ता कोनो ले 
नई हे...।

Chhattisgarhi romantic poetry.


में कईसे कहव की ओकर साथ कईसे हे
वो अकेला मोर बार पूरा कायनात जईसे हे...।

Chhattisgarhi love couplets.


में तोर साथ जिनगी भर बर नई मांगत हव
जब तक साथ रिबे तब तक जिनगी मांगत हव...।


मया के एहसास जब दोनो झन ला 
होय रीहिस,
फर्क अतना रीहिस के ओ करे रीहिस अऊ
मोला होय रीहिस...।


हीरदय म करके चल देहे घांव कब आबे मोरे गांव।
देखत रहीथौं मैं तोर रस्ता ओ बइठे पीपर के छांव।
दिल म करके चल देये घांव कब आबे मोरे गॉंव।
देखत रहीथौं मैं तोर रस्ता ओ बइठे पीपर के छांव...।

Cg sad shayari

करले तै भरेसा संगी मन म तोला बसाहुँ।
आँखि आँखि म झूलत रथस रानी तोला बनाहुँ...।


मया पिरित के बंधना म बांधे मन म मोर समागे।
तोर बिना मोर दिन नई पहावय कोन दुनिया म तैं लुकागे..।


देखे हौं जब ले तोला गोरी, कुछु मोला नई भावत हे।
मया के का तैं जादू डारे, मोर दिन ह नई पहावत हे...।


मोर गाँव के गोरी तै
तोला अब्बड़ मया करथंव,
दिन-रात रानी तोर, 
सपना ला मैं हँ देखत रहिथँव…!

Regional love shayari


 स्वीट-स्वीट तोर गोठ गोरी, 💘दिल ल “झटका” देथे ओ,
मया के बीच मजधार म, मोला “अटका” देथे ओ।


Chhattisgarhi romantic expressions.


अरे शहर भीतर म घुमाहूँ तोला, अउ मन के बात बताहूँ तोला,
अगोर लेबे अवईय्या अक्ती ल, उही सीजन म बिहाहू तोला...।


बजार के पताल कस
गाल तोरे लाल-लाल हे
रंग-बिरंगी बदन हे तोरे
बताना तोर हाल- चाल हे...।

Chhattigarhi shayari 

जंगल के भीतर टुरी,बघवा के डेरा ओ
आजा समा-जा छाती म
खुल्ला हे बईहाँ के घेरा ओ...।

सरसों के बारी मा
पिउंरी पिउंरी रंग बरसे जी ,
एक मिनट के विरहा म टूरा
टुरी ल मिले बर तरसे जी...।


का मतलब असने तोर मया के
जेन दू बांटा म बँटाये हस ,
एक ले पीछा छुटे त
दुसर म जाके संटाये हस ...।

Not:- ऐसे ही छत्तीसगढ़ी में शायरी पढ़ते रहने के लिए आप हमारी ब्लॉग को फॉलो कर्रे ताकि आप हमारी आने वाली सभी शायरी को पढ़ सके,और  हमरी शायरी को आप सभी अगर अच्छी लगती है तो आप अपने सभी friends को जरूर share करे। 

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